पंजाब और महाराष्ट्र सहकारी बैंक के जमाकर्ताओं ने रविवार को मुंबई के लोखंडवाला में किया विरोध प्रदर्शन
मुंबई । महाराष्ट्र में पंजाब और महाराष्ट्र सहकारी (पीएमसी) बैंक के जमाकर्ताओं ने रविवार को मुंबई के लोखंडवाला में विरोध प्रदर्शन किया। जमाकर्ताओं के एक प्रतिनिधिमंडल ने गत 15 दिसंबर को मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से मुलाकात की थी। बॉम्बे हाई कोर्ट ने कहा है कि एचडीआईएल और उसके प्रमोटरों राकेश वधावन और सारंग वधावन को पंजाब एवं महाराष्ट्र को-ऑपरेटिव (पीएमसी) बैंक का कर्ज चुकाना होगा। कोर्ट ने कहा कि यह बैंक और वहां अपना धन जमा करने वालों के हित में होगा। इसके साथ ही अदालत ने कहा कि पीएमसी बैंक और जमाकर्ताओं के हित में एचडीआईएल और वधावन की संपत्ति जल्द से जल्द बेची जानी चाहिए।
जस्टिस रंजीत मोरे और जस्टिस एसपी ताव़़डे की पीठ वकील सरोश दमनिया द्वारा दाखिल याचिका पर सुनवाई कर रही थी। याची वकील ने ईओडब्ल्यू और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा जब्त की गई संपत्तियों का तुरंत निपटारा करने और पीएमसी बैंक के जमाकर्ताओं का शीघ्र भुगतान कराने का निर्देश देने की मांग की है। इससे पहले कोर्ट के पिछले निर्देश पर एचडीआइएल के प्रबंध निदेशक सारंग वधावन ने बुधवार को संपत्ति की सूची के साथ एक शपथ पत्र पेश किया था। वधावन ने यह भी कहा है कि बैंक का कर्ज चुकता करने के लिए कंपनी की संपत्ति बेची जाती है तो उन्हें कोई आपत्ति नहीं होगी।
पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा द्वारा दर्ज एफआइआर के अनुसार, बैंक का कर्ज 4,355 करो़ड़ रुपये है। जब्त की गई संपत्ति की कीमत 11,000 करो़ड़ रुपये आंकी गई है। यह जरूरत से ज्यादा है। चौधुरी ने दोनों वधावन को जमानत देने की मांग की, ताकि वे दोनों संपत्ति बेचने में सहायता कर सकें। पीठ ने दलील ठुकरा दी। दलील सुनने के बाद पीठ ने दमानिया की याचिका पर फैसला सुरक्षित रख लिया।