प्रवासी कामगारों को बसों में भरकर बिहार भेजने के चल रहे प्रयास पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जताई कड़ी आपत्ति
पटना । प्रवासी मजदूरों को बसों में भरकर बिहार भेजने के चल रहे प्रयास पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कड़ी आपत्ति जताई है। नीतीश ने कहा कि इससे तो लॉकडाउन ही फेल हो जाएगा। शनिवार को मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रवासी कामगारों को विशेष बसों से वापस भेजना गलत है। इससे लॉकडाउन की बात बेमानी हो जाएगी तथा बीमारी और फैलेगी। बीमारी फैलने के बाद उसकी रोकथाम और निपटना सभी के लिए मुश्किल होगा। बिहार सरकार ने यह व्यवस्था की है कि जो जहां है, वहीं उसके रहने और भोजन की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। इसके अलावा नीतीश ने अपने सांसद निधि से कोरोना उन्मूलन फंड में सात करोड़ रुपये डोनेट किए। वहीं, शनिवार को एक और कोरोना पॉजिटिव मिला। इससे बिहार में कोरोना पॉजिटिव केस की संख्या 10 पर पहुंच गई। उधर, बिहार पुलिस ने शनिवार को लॉकडाउन के दौरान प्रदेशभर में कार्रवाई कर 400 गाडिय़ां जब्त की। 21 लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया, जबकि इस दौरान नौ लाख रुपये बतौर जुर्माना वसूले गए।
शनिवार तक मिले 1907 संदिग्ध, 578 की हुई जांच बिहार में कोरोना संदिग्धों की संख्या शनिवार को 1907 तक पहुंच गई है। शुक्रवार तक इनकी संख्या 1760 थी। इन 1907 लोगों में से अब तक 592 संदिग्धों के सैम्पल जांच के लिए भेजे गए, जिसमें 578 रिपोर्ट मिली है। आज जांच में एक महिला पोजेटिव पाई गई, जिसके बाद राज्य में कोरोना पोजेटिव लोगों का आंकड़ा 10 पर जा पहुंचा। इनमे से एक की मौत हो चुकी है। आज की रिपोर्ट के अनुसार 565 लोग जांच में निगेटिव पाए गए हैं। तीन रिपोर्ट रिजेक्ट हुई हैं और 15 के रिजल्ट आने बाकी हैं।
जिलावार कोरोना के संदेह में सिर्विलांस पर लिए गए लोग पटना – 100, गोपालगंज – 388, गया – 66,भागलपुर -109, सिवान – 344, भोजपुर – 65, मुजफ्फरपुर – 173, समस्तीपुर – 88, सारण – 96, नालंदा – 96, पू. चंपारण – 70, प. चंपारण 74, किशनगंज – 25, मधुबनी – 95, रोहतास – 10, दरभंगा – 28, जहानाबाद – 19, कैमूर – 12, सीतामढ़ी – 7, अररिया – 2, सुपौल – 3, मधेपुरा – 9, वैशाली -6, बांका – 4, सहरसा – 5, शिवहर – 2, मुंगेर – 18, लखीसराय – 1, बेगूसराय – 7, नवादा – 11, कटिहार – 3, पूर्णिया – 1, बक्सर – 4,
221 ने पूरी की ऑब्जर्वेशन की 14 दिन की अवधि स्वास्थ्य विभाग ने आधिकारिक रूप से जानकारी दी कि 221 लोगों ने 14 दिन की ऑब्जर्वेशन अवधि पूरी कर ली। इनमें कोरोना का कोई लक्षण नहीं मिलने के बाद ऑब्जर्वेशन से मुक्त कर दिया है।
दिल्ली से आई थी खबर दरअसल, शनिवार को खबर आई थी कि दिल्ली और एनसीआर से हजारों की संख्या में लोग अपने घर जाने के लिए पैदल निकल पड़े हैं। इस बात को देखते हुए यूपी सरकार ने 200 बसों का इंतजाम किया है। ये बसें नोएडा और गाजियाबाद से हर दो घंटे पर खुलनी हैंं। इसी तरह हरियाणा सरकार भी बसों से प्रवासी कामगारों को उनके घर भेजने को कह रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह स्वाभाविक है कि इन बसों के अधिकतर यात्री बिहार और पूर्वांचल के लोग हो सकते हैं। कई दिनों की परेशानी झेल रहे यात्रियों के लिए भले ही यह राहत की बात हो सकती है, लेकिन सचाई यह भी है कि अगर इन यात्रियों में कोई एक भी संक्रमित हुआ तो बड़ी दिक्कत खड़ी हो सकती है। इसी को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि प्रवासी कामगारों को विशेष बसों से वापस भेजना गलत है। इससे लॉकडाउन की बात बेमानी हो जाएगी तथा बीमारी और फैलेगी। लॉकडाउन ही फेल हो जाएगा।
नीतीश ने कोरोना उन्मूलन कोष में दिए सात करोड़ कोरोना उन्मूलन कोष के लिए अपनी ओर से पहल करते हुए मु्ख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार को मुख्यमंत्री क्षेत्र विकास योजना के तहत अपनी विधान पार्षद निधि से सात करोड़ रुपए दिए जाने की अनुशंसा की। इस कोष के लिए अब तक की यह सबसे बड़ी राशि है। मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में शुक्रवार को हुई बैठक में इस कोरोना उन्मूलन कोष के गठन का फैसला हुआ था। इस कोष के लिए यह प्रावधान किया गया है कि विधायकों और विधान पार्षदों को मुख्यमंत्री क्षेत्र विकास योजना के तहत एक वर्ष के लिए जो तीन करोड़ रुपए विकास कार्याें के लिए उपलब्ध होते हैं उसमें से पचास लाख रुपए योजना एवं विकास विभाग खुद इस कोष में स्थानांतरित कर देगा।
बिहार भवन में चल रहा नियंत्रण कक्ष, जो जहां है वहीं मदद होगी बिहार के बाहर फंसे प्रवासी बिहारी कामगारों की सहायता के लिए दिल्ली के बिहार भवन में एक नियंत्रण कक्ष काम कर रहा है। इसके लिए तीन नंबर क्रमश: 011-23792009, 011-23014326 तथा 011-23013884 काम कर रहे हैं। इन तीन नंबरों पर दस-दस हंटिंग लाइन हैं। आठ-आठ घंटे के शिफ्ट में वहां कर्मचारियों को लगाया गया है। चौबीस घंटे यह सेवा है। यहां फंस गए कामगारों को भोजन व आवासन की समस्या पर काम हो रहा है। इसके अतिरिक्त एक लिंक भी मुहैया करायी गयी है, जहां से मदद ली जा सकती है। देश के किसी भी हिस्से में कोई बिहारी कष्ट में है, तो बिहार सरकार उसके भोजन और आवासन की व्यवस्था करेगी।
बिहार में कोरोना पॉजिटिव केस की संख्या पहुंची 10 पर बिहार में कोरोना पॉजिटिव मरीजाें की संख्या शनिवार को 10 पर पहुंच गई। शनिवार को 24 वर्षीया महिला की जांच रिपोर्ट कोराेना वायरस से संक्रमित पायी गई। बताया जाता है कि वह महिला को मुंगेर के मृत युवक से आया था। पटना के जिस शरणम अस्पताल में मुंगेर के युवक का इलाज हुआ था, उसी अस्पताल में इस महिला का भी इलाज हुआ था। बता दें कि बिहार में अब तक एक मरीज की मौत हुई है, बाकी का इलाज चल रहा है।
भागलुपर में संदिग्धों के घर पर साटे जा रहे हैं लाल पर्चे कोराेना को लेकर भागलपुर प्रशासन पूरी तरह अलर्ट है। हाल के दिनों में देश के दूसरे राज्यों और विदेश से लौटे लोगों के घरों को चिह्नित कर लाल पर्चा चस्पा किया जा रहा है। इसमें संदिग्धों को 14 अप्रैल तक होम क्वारंटाइन पर रहने की सलाह दी जा रही है। शनिवार को नगर निगम की ओर से कोरोना संदिग्धों के घर लाल पर्चा चस्पा करने का कार्य शुरू हुआ। पहले दिन आधा दर्जन घरों के बाहर चस्पा किया गया। नगर के जगरनाथ सुरीलेन रामसर में तीन दिन पहले एक सदस्य अलीगढ़ से आया था। घर के सभी सदस्यों को दूर रहने की सलाह दी गई है। नगर निगम ऐसे 17 घरों की पहचान की है, जहां लाल पर्चा चस्पा करना है।
बिहार में लॉकडाउन का उल्लंघन करने वालों ने भरा नौ लाख रुपये जुर्माना पुलिस ने शनिवार को लॉकडाउन के दौरान प्रदेशभर में कार्रवाई कर 400 गाडिय़ां जब्त की। 21 लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया, जबकि इस दौरान नौ लाख रुपये बतौर जुर्माना वसूले गए। एडीजी मुख्यालय जितेंद्र कुमार ने बताया कि लॉकडाउन को प्रभावी रूप से लागू कराने के लिए पुलिस चौकसी और सख्ती दोनों बढ़ा दी गई है। बार-बार अपील के बाद भी लोग बिना वजह घर के बाहर घूमते या निकलते हैं तो उन पर नरमी बरतने का कोई औचित्य ही नहीं है। पुलिस माइक से बार-बार अपील कर लोगों को जागरूक कर रही है। फिर भी शनिवार को बड़ी संख्या में लोग अत्यावश्यक कार्य के बिना सड़कों पर घूमते नजर आए।
बिहार के उन्नीस जिलों की मॉनीटरिंग कर रहे रामविलास पासवान केंद्र सरकार ने बिहार में कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाव व इलाज में राज्य सरकार के साथ समन्वय के लिए दो केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान और रविशंकर प्रसाद को जिम्मेदारी सौंपी है। रामविलास पासवान के पास उन्नीस जिलों का जिम्मा है। पासवान ने बताया कि उन्होंने सभी उन्नीस जिलों के जिलाधिकारियों और पुलिस अधीक्षकों से बात कर स्थिति जानकारी ली। रामविलास ने कहा कि राज्य सरकार के स्तर पर कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाव और इलाज को ले ठीक काम हो रहा है। उन्होंने अपने स्तर से लॉकडाउन के सख्त अनुपालन के संबंध में सभी पुलिस अधीक्षकों को कहा है। उन्होंने कहा कि जरूरी सामान को लेकर कहीं से कोई दिक्कत नहीं है। जिलाधिकारियों से हुई बातचीत में यह बात सामने आयी है। उन्होंने सभी जिलाधिकारियों को आश्वस्त भी किया है कि अगर कोई परेशानी हो रही तो उन्हें यह भी बताया जाए।
अलग-अलग जगहों से कोरोना के तीन संदिग्ध हुए फरार अररिया, बांका व नालंदा में आइसोलेशन में रखे गए तीन कोरोना संदिग्ध फरार हो गए। नालंदा में पावापुरी स्थित वर्धमान मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल (विम्स) से एक संदिग्ध मरीज भाग निकला। शनिवार को उसकी तलाश में हरनौत में छापेमारी की गई। अस्पताल की पंजी में संदिग्ध युवक का नाम व पता हरनौत ही दर्ज है। वहीं बांका शहर के सम्राट अशोक भवन में बने आइसोलेशन वार्ड में जांच के लिए शनिवार को नेपाल से लौटे एक व्यक्ति को भर्ती किया गया था। युवक वहां से फरार हो गया, जबकि अररिया के सदर अस्पताल के आइसोलेशन वार्ड में भर्ती कोरोना का एक संदिग्ध बुधवार को फरार हो गया। इस संबंध में जिलाधिकारी को भी समय से जानकारी नहीं दी गई। इसे लेकर अस्पताल अधीक्षक से जिलाधिकारी प्रशांत कुमार ने स्पष्टीकरण मांगा है। साथ ही उनके मार्च महीने के वेतन पर भी अगले आदेश तक रोक लगा दी गई है। संदिग्ध ताराबाड़ी थाना क्षेत्र का निवासी बताया जाता है। सर्दी-खांसी की शिकायत पर वह अस्पताल पहुंचा था। डॉ. उमर अकबर ने उसकी जांच की। संदिग्ध पाए जाने पर उसे दरभंगा मेडिकल कॉलेज सह अस्पताल (डीएमसीएच) भेजने की तैयारी की जा रही थी। इसी बीच वह स्वास्थ्य कर्मियों को चकमा देकर फरार हो गया।
पटना में संक्रमित मिलने पर घर के पांच किमी परिधि के लोग होंगे क्वारंटाइन कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए संक्रमित व्यक्ति के घर से पांच किलोमीटर की परिधि के सभी व्यक्तियों को होम क्वारंटाइन कराने का निर्णय जिला प्रशासन ने लिया है। तीन हजार संदिग्धों को क्वारंटाइन कराया जा चुका है। पांच हजार से अधिक लोगों को होम क्वारंटाइन कराया जाएगा। संख्या अधिक भी हो सकती है। बड़ी संख्या में शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों के घरों में क्वारंटाइन के स्टीकर चिपकाए जा रहे हैं। जिलाधिकारी कुमार रवि ने क्वारंटाइन व्यवस्था को मजबूती से लागू कराने के लिए सेक्टरवार टीम का गठन किया है। 14 अप्रैल तक टीम जिलेभर में घूम-घूमकर होम क्वारंटाइन व्यवस्था को सुनिश्चित कराएगी। टीम में दंडाधिकारी, पुलिस पदाधिकारी, चिकित्सक एवं पैरा मेडिकल कर्मी की प्रतिनियुक्ति की गई है।
जांच किट का संकट टला, आरएमआरआइ में जांच शुरू
बिहार में कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी, पुणे से बिहार को दस हजार से अधिक कोरोना जांच किट मिल गए हैं। शुक्रवार की रात करीब दो बजे विशेष विमान से ये किट पटना लाए गए। राजेंद्र मेमोरियल रिसर्च इंस्टीट््यूट ऑफ मेडिकल साइंस (आरएमआरआइ), अगमकुआं को किट उपलब्ध करा दिया गया है। राज्य के मुख्य सचिव दीपक कुमार और स्वास्थ्य के प्रधान सचिव संजय कुमार ने इसकी पुष्टि की। वहीं आरएमआरआइ के निदेशक प्रदीप कुमार दास ने बताया कि उनके पास पर्याप्त जांच किट हैं। राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यपालक निदेशक मनोज कुमार ने कहा कि कोरोना की आशंका वाले केस लगातार बढ़ रहे हैं। इन लोगों की जांच में किट बाधा नहीं बनेंगे। केंद्र सरकार से एक लाख किट व अन्य उपकरणों की मांग की गई है। बता दें कि शुक्रवार को आरएमआरआइ में जांच किट की कमी की वजह से जांच प्रभावित होने की बात कही जा रही थी। हालांकि संस्थान की ओर से कहा गया था कि संस्थान को सैनिटाइज करने की वजह से जांच का काम रोका गया था।
किर्गिजस्तान में फंसे पश्चिम चंपारण के 35 छात्रों को मिला खाना लॉकडाउन के कारण किर्गिजस्तान में फंसे में जिले के 35 मेडिकल छात्रों के पास एक सप्ताह की खाद्य सामग्री पहुंचा दी गई। शुक्रवार देर शाम भारतीय दूतावास और एशियन मेडिकल कॉलेज के अधिकारी छात्रों के पास पहुंचे और उनका हाल जाना। एंबेसी के अधिकारी ने छात्रों को अपना मोबाइल नंबर भी दिया। कहा कि कोई परेशानी हो तो कॉल करें। बेतिया शहर के शिवपुरी कॉलोनी निवासी जयप्रकाश कुमार कुशवाहा के तीन बच्चे किर्गिजस्तान के एशियन मेडिकल कॉलेज में पढ़ते हैं। बकौल, जयप्रकाश सांसद डॉ. संजय जायसवाल के प्रयास से बच्चों के पास खाना पहुंचा। दूतावास के अधिकारियों ने भी बच्चों का मनोबल बढ़ाया है। अब कोई दिक्कत नहीं है। गौरतलब है कि एशियन मेडिकल कॉलेज, गैगेरिना स्ट्रीट कांत चुई किर्गिजस्तान में मेडिकल अंतिम वर्ष के छात्रों के फंसने से संबंधित खबर को दैनिक जागरण ने 28 मार्च 2020 के अंक में प्रकाशित किया था।
कोयंबटूर में फंसे हैं जमुई के 350 मजदूर, वीडियो भेज लगाई मदद की गुहार चेन्नई के कोयंबटूर में जमुई के विभिन्न हिस्सों के फंसे मजदूरों ने शनिवार को वीडियो भेजकर मदद की गुहार लगाई है। कोयंबटूर के समीप त्रिपुर में सिकंदरा प्रखंड के विभिन्न गांवों के लगभग 350 मजदूर फंसे हुए हैं। इनके पास अब इतने पैसे नहीं बचे हैं कि किराया भुगतान कर सकें और राशन-पानी का इंतजाम कर सकें। सिकंदरा प्रखंड के धर्मपुर गांव निवासी धर्मेंद्र पासवान, गोपाल पासवान आदि ने बताया कि वे लोग चाहकर भी पैदल गांव वापस नहीं जा सकते। जिस जगह वे लोग फंसे हैं, वहां से गांव की दूरी 2200 किलोमीटर से अधिक है। जाजल गांव निवासी सुरेंद्र यादव व मनोज यादव, बिछवे गांव निवासी सुबोध महतो, हरला निवासी परमानंद व सूरज आदि ने बताया कि परिवार और बाल-बच्चों के साथ वे यहां भूख से बिलबिला रहे हैं। ऊपर से मुसीबत यह कि स्थानीय लोग उनकी मदद नहीं कर रहे।
पढ़ें महत्वपूर्ण जिलों की कोरोना-लॉकडाउन से जुड़ीं राउंडअप खबरें
भागलपुर : सड़कों पर पसरा सन्नाटा। कई मोहल्लों में लोागें ने की बैरिकेडिंग। कई लोगों को बेवजह बाहर निकलने पर पुलिस की सख्ती का सामना करना पड़ा। शहर के दर्जनों मोहल्ले व गलियों में बांस, लोहे की पाइप आदि से बैरिकेडिंग की जा रही है। जिससे केवल ऐसे ही लोगों को गुजरने दिया जाएगा जिन्हें जरूरी सेवा लेनी होगी। जरूरी सेवा के लिए वाहनों को जिला प्रशासन द्वारा पास निर्गत किया जा रहा है।
बांका : लॉकडाउन के पांचवें दिन सड़कों पर दिनभर सन्नाटा पसरा रहा। शाम में प्रशासन की निगरानी में राशन और सब्जी की दुकानें खुलीं। इस दिन पुलिस ने लॉकडाउन तोडऩे पर आठ वाहन जब्त किए। इनसे साढ़े चार हजार रुपये जुर्माना वसूल किया गया है। शाम चार बजे बाजार में गांधी चौक से शिवाजी चौक तक कुछ चहल-पहल दिखी। लोग बाजार निकले। वहीं बौंसी और धोरैया सीमा पर पैदल झारखंड और बंगाल से मजदूरों का लौटना जारी रहा। संबंधित प्रखंडों में इसकी जांच जारी है।
जमुई : जमुई में लॉकडाऊन का असर है। सड़कों पर पूरी तरह सन्नाटा पसरा रहा। दवा व राशन को छोड़ सभी दुकानें बंद हैं। आवश्यक सेवा को छोड़कर अन्य वाहनों का परिचालन ठप है।
लखीसराय: लखीसराय में शहर से लेकर गांव तक लॉकडाउन का असर दिखने लगा है। सड़कों पर सन्नाटा पसरा है। गैर जरूरी सभी दुकानें बंद हैं। पुलिस और जिला प्रशासन की पहल से लोग खुद ही सतर्कता बरत रहे हैं।जिला प्रशासन ने नगर परिषद के रैन बसेरा में 47 बाहरी लोगों के भोजन और आवासन की व्यवस्था कराई है।
मुंगेर : मुंगेर में लॉकडाउन का चौथे दिन भी व्यापक असर दिखा। शहर की मुख्य सड़कें दिन भी वीरान रही। वहीं, गुलजार पोखर सहित कई मुहल्ला में लोगों ने खुद से बांस बल्ला लगा कर लॉकडाउन कर लिया। वहीं, ग्रामीण क्षेत्र में भी लोग खुद से अपने गांव मुहल्ला को लॉकडाउन करने लगे हैं। लॉकडाउन को लेकर पुलिस की सख्ती के बाद अब लोग घरों से बाहर निकलने से परहेज कर रहे हैं। वहीं, हवेली खड़गपुर में फिर कौए की मौत की खबर है।
खगडिय़ा: लॉकडाउन शनिवार को असरदार रहा। डीएम और एसपी स्वयं पल-पल की जानकारी लेते रहे। एनएच-31, 107 और महेशखूंट-अगुवानी पथ पर आवश्यक वाहन ही दौड़ते नजर आए। बड़ी संख्या में प्रवासी मजदूरों का आना जारी है। अब तक 3,316 मजदूर खगडिय़ा लौट चुके हैं। इननकी सतत निगरानी रखी जा रही है।
सुपौल: लॉकडाउन को लेकर सड़कों पर सन्नाटा है। आवश्यक दुकानों को छोड़कर सभी प्रकार की दुकानें बंद हैं। वाहनों की आवाजाही नहीं हो रही है। सभी चौक-चौराहों पर पुलिस बल की तैनाती की गई है।
सहरसा: लॉकडाउन को लेकर सड़कों पर सन्नाटा पसरा रहा। सब्जी मार्केट को पटेल मैदान में स्थानांतरित कर दिया गया है। सब्जी मार्केट में दुकान चलाने पर एक दुकानदार की सब्जी सदर थाना पुलिस ने जब्त कर ली।
मधेपुरा : लॉकडाउन को लेकर सड़कों पर सन्नाटा है। आवश्यक दुकान छोड़कर सभी प्रकार की दुकानें बंद है। वाहनों की आवाजाही नहीं हो रही है। सब्जी मार्केट को मार्केट से हटाकर शिवनंदन उच्च विद्यालय के मैदान में स्थानांतरित कर दिया गया है।
अररिया : जिले में लॉक डाउन के दौरान शनिवार को भी जरूरी सामान को छोड़कर अन्य दुकानें बंद रहीं। छिटपुट लोगों को छोड़कर बाजार में पूरी तरह सन्नाटा पसरा रहा। कुछ बाइकें भी जब्त की गईं।
किशनगंज : लॉकडाउन का असर बाजारों में दिख रहा है। सड़कों पर सन्नाटा पसरा है। निर्धारित समयानुसार सुबह शाम को सब्जी व राशन दुकानें और दिनभर दवा दुकानें खुली रहती है। बाजार में सुबह-शाम भीड़ देखी जा रही है। हालांकि सब्जी बाजार को छोड़ अन्य जगहों पर एहतियात का पालन किया जा रहा है।
कटिहार: लॉकडाउन का असर देखा गया। सड़कों पर पूरी तरह सन्नाटा पसरा रहा। दवा व राशन को छोड़ सभी दुकानें बंद रही। आवश्यक सेवा को छोड़ अन्य वाहनों का परिचालन ठप रहा।
गया : गया में भी लॉकडाउन पूरी तरह सफल रहा। सुबह कुछ लोग अपने घरों से निकले, लेकिन जरूरत के सामान लेकर फिर अपने घरों में कैद हो गए। इस कारण दोपहर में सड़कों पर सन्नाटा रहा। चौक-चौराहों पर पुलिस ऑन ड्यूटी दिखी। जिला प्रशासन ने राहत वितरण वाहन रवाना किया। हालांकि ग्रामीण इलाकों में ऐसी स्थिति नहीं रही। इस कारण पुलिस को डंडा फटकारना पड़ा। किसान अपनी जरूरतों के लिए निकले, लेकिन शारीरिक दूरी बनाकर ही काम किया और दूसरों से कराया। रोजमर्रा की जरूरतों की दुकानें रोज की तरह खुलीं। अधिकारी सड़कों पर रहे और व्यवस्था की मुस्तैदी के लिए डटे रहे। इसके साथ आपात स्थिति के लिए सभी अस्पतालों को पूरी तरह तैयार रखा गया है। बाहर से आने वाले लोगों की जांच कर जरूरत पडऩे पर क्वारंटाइन में रखा जा रहा है। उधर, चैती छठ व्रत शुरू होने के बाद भी राज्य के प्रसिद्ध देव सूर्यकुंड व देव सूर्य मंदिर में सन्नाटा रहा। जिले में प्रमंडलीय सेल बनाकर सभी पांचों जिले नवादा, गया, औरंगाबाद, अरवल व जहानाबाद मेें कोरोना के संदिग्धों पर नजर रखी जा रही। अब तक एक भी पॉजिटिव केस नहीं मिला है।
भभुआ: जिले के कुछ प्रखंडों में अभी भी लोग गंभीर नहीं दिख रहे। हालांकि इन पर पुलिस सख्ती दिखा रही। एसपी के निर्देश पर सभी जगह पुलिस पदाधिकारी व जवान तैनात हैं। ये लॉकडाउन का अनुपालन कराने में जुटे हैं। रामगढ़ से सटी यूपी-बिहार की सीमा पर बड़ौरा चेकपोस्ट बंदकर दिया गया है। इससे यूपी-बिहार में आने-जाने वाले वाहनों पर रोक लग गई है। पदाधिकारी बैठक कर जायजा ले रहे हैं। जरूरी सामान की होम डिलीवरी शुरू है। सभी प्रखंडों की पंचायतों में आइसोलेशन वार्ड बन गए हैं। उधर, सामाजिक कार्यकर्ता व कुछ समृद्ध लोग गरीबों की सहायता के लिए तत्पर हैं।
सासाराम : जिले में रोजमर्रा की आवश्यक वस्तुओं की कमी न होने देने के लिए जिला प्रशासन मुस्तैद है। जैसे-जैसे दिन बढ़ते जा रहे, लोगों को राहत भी सुलभ होने लगी है। दवा, सब्जी व किराना सामान आसानी से उपलब्ध कराने को दुकानें निश्चित अवधि में खुल रहीं। कई दुकानों पर खरीदारों की लंबी लाइनें लगी रहीं। डीएम ने नगर निकाय क्षेत्रों में वार्डवार कर्मियों को सामान मुहैया कराने को प्रतिनियुक्त किया है। ये कर्मी विक्रेताओं पर नजर रख रहे हैं। फंसे लोगों के साथ दिहाड़ी मजदूरों व रिक्शा चालकों के खाने-रहने की व्यवस्था की गई है। बाहर से आए तीन सौ लोगों को जांच के लिए सदर अस्पताल भेजा जा चुका है।
औरंगाबाद: जिले में शहर से लेकर ग्रामीण इलाके सन्नाटे में रहे। सवारी वाहनों का परिचालन बंद रहा। लॉकडाउन के उल्लंघन पर 13 वाहनों को जब्त किया गया, दो प्राथमिकी दर्ज हुई है और करीब 15 हजार जुर्माना वसूला गया। लॉकडाउन की सफलता के लिए जिले में 36 चेकपोस्ट बनाए गए हैं। इन पर अधिकारी व सुरक्षाकर्मी तैनात हैं। शनिवार को नहाय खाय के साथ चैती छठ व्रत शुरू हुआ है। राज्य के प्रसिद्ध देव सूर्यकुंड व देव सूर्य मंदिर में सन्नाटा पसरा रहा। डीएम सौरभ जोरवाल के अनुसार जिले में कोई कोरोना संक्रमित मरीज नहीं मिला। जिले में सुबह छह बजे से शाम छह बजे तक दुकानें खुली रहीं।
नवादा : जिले में भी लॉकडाउन सामान्य दिनों की तरह रहा। लोग अपने घरों में रहे और जरूरत होने पर निकले। दुकानें खुली रहीं। इन पर खरीदारों को शारीरिक दूरी का पालन कराया गया। सड़कों पर अधिकारियों के साथ जवान तैनात दिखे। हर आने-जाने वालों से टोकाटाकी होती रही। बेवजह घूमने वालों पर पुलिस ने सख्ती भी की। चैती छठ व्रत शुरू होने के बाद लोगों ने घरों में पूजा की। मंदिरों में सन्नाटा रहा। हिसुआ प्रखंड की सोनसा पंचायत के फुलवरिया के एक युवक को ग्रामीणों ने बाहर ही मंदिर में रोक दिया। उसकी जांच कराई गई, रिपोर्ट निगेटिव रही तो उसे घर जाने दिया गया।
मुजफ्फरपुर : कोरोना से बचाव के लिए शनिवार को उत्तर बिहार में 1706 लोगों की अस्पतालों में जांच हुई। इसमें छह को संदिग्ध मानकर आइसोलेशन वार्डों में भर्ती किया गया। जबकि, 16 को क्वारंटाइन किया गया है। शेष को घरों में सतर्कता बरतने की सलाह दी गई है। मुजफ्फरपुर के एसकेएमसीएच में 223 लोगों की स्क्रीनिंग हुई। इसमें दो को आइसोलेशन वार्ड में भर्ती किया गया है। इस तरह छह लोग भर्ती हैं। अब तक 42 के सपैंल लिये गये। इसमें 32 की रिपोर्ट निगेटिव मिली। 10 की रिपोर्ट का इंतजार है। वहीं लॉकडाउन को लेकर सड़कों पर सन्नाटा रहा। दुकानें बंद रहीं। बिना वजह घूम रहे लोगों को घर वापस भेजा गया।
पश्चिम चंपारण : बगहा में 312 लोगों की जांच हुई। सभी सामान्य मिले। बेतिया में 430 लोगों की स्क्रीनिंग की गई। इन्हें घरों में सुरक्षित रहने की हिदायत दी गई है। नरकटियागंज में दो लोको पायलट को रेल अस्पताल में भर्ती कराया गया। इनके सैंपल बाहर भेजे गए हैं। ये गोरखपुर में दो दिनों तक कोरोना संदिग्ध के बीच रहे हैं। वहीं बगहा में सड़कें सूनी रहीं। सब्जी, फल, दवा व किराना स्टोर को छोड़ अन्य दुकानें बंद रहीं। पिपरासी थाना क्षेत्र के कतिकी गांव में युवकों ने यूपी बॉर्डर को बैरियर लगाकर सील कर दिया है। मझौलिया में विभिन्न जिलों के 50 लोग आकर फंसे हैं। इनके स्कूल में रहने की व्यवस्था की गई है।
पूर्वी चंपारण : मोतिहारी सदर अस्पताल में 161 लोगों की स्क्रीनिंग हुई। एक को सदर अस्पताल में भर्ती कराया गया। अन्य सामान्य मिले। दूसरी ओर लॉकडाउन के उल्लंघन में 14 लोगों को गिरफ्तार किया गया। एक वैगन आर कार जब्त की गई।
मधुबनी : झंझारपुर के नर्सिंग स्कूल में 30 लोगों को आइसोलेट कर मुहर लगाई गई। इसके बाद घर भेजा गया। लॉकडाउन का शहरी क्षेत्र में असर दिखा, मगर गावों में लोग सड़कों पर दिखे।
सीतामढ़ी : जिले में 190 लोगों की जांच की गई। इसमें एक को होम क्वारंटाइन किया गया। शेष सामान्य मिले। लाॅकडाउन के बाद भी शहर के गली-मोहल्लों में दुकानें खुली रहीं। प्रशासन की सख्ती नहीं दिखी। सड़कों पर आवाजाही जारी रही। बॉर्डर इलाका सील रहा। जरूरत के सामान की कालाबाजारी की सूचना मिली।
शिïवहर : सदर अस्पताल में 60 लोगों की जांच की गई। सभी सामान्य मिले। वाहन चेकिंग से सड़कों पर सन्नाटा रहा। कालाबाजारी पर रोक के लिए छापेमारी की गई।
दरभंगा : हायाघाट में बाहर से लौटे 189 लोगों की जांच की गई। इन्हें घरों में रहने की सलाह दी गई। तारडीह में 15 प्रवासी मजदूरों को मशक्कत के बाद स्कूल में क्वारंटाइन किया गया। डीएमसीएच के इमरजेंसी वार्ड के फ्लू कार्नर में 93 लोगों की जांच हुई। कोई संदिग्ध नहीं मिला। कुशेश्वरस्थान थाना क्षेत्र में दुष्कर्म के एक आरोपित को गिरफ्तारी के बाद डीएमसीएच के आइसोलेशन वार्ड में 14 दिनों के लिए रखा गया है। इस तरह दो लोग यहां भर्ती हैं। एक की रिपोर्ट निगेटिव है। दूसरे का इंतजार है। उधर, लॉकडाउन की बंदी का असर दिखा। कुछ स्थानों पर पुलिस ने सड़कों पर मंडरा रहे युवकों पर लाठियां चटकाई। दुकानें बंद रहीं।
समस्तीपुर : बाजार पूरी तरह बंद रहा। सड़कों पर सिर्फ एंबुंलेंस व पुलिस वाहन के सायरन की आवाज सुनाई पड़ी। मटरगश्ती कर रहे लोगों को फटकार लगाने के बाद उठक-बैठक कराई गई। नगर परिषद के एक दैनिक सफाई कर्मी की पुलिस की पिटाई के खिलाफ मजदूरों ने सफाई कार्य का विरोध करते हुए हंगामा किया। पुलिस के खिलाफ नारेबाजी की।