Uttarakhand

प्रमुख अर्थशास्त्रियों का भी मानना है कि अर्थव्यवस्था की मंदी का यह दौर अस्थायी हैः-मुख्यमंत्री

देहरादून। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि शीघ्र ही देश की अर्थव्यवस्था तेजी से आगे बढ़ेगी। कृषि, पशुपालन एग्रोबेस लघु, मझोले एवं कुटीर उद्योग अर्थव्यवस्था को मजबूती प्रदान करेंगे। प्रमुख अर्थशास्त्रियों का भी मानना है कि अर्थव्यवस्था की मंदी का यह दौर अस्थायी है। आटोमोबाइल सहित अन्य विभिन्न क्षेत्रों में तेजी आनी शुरू हो गयी है।
उत्तराखण्ड के परिपेक्ष्य में राज्य के विकास की दिशा में किये जा रहे प्रयासों का उल्लेख करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में जीएसटी के क्षेत्र में पिछले एक महीने में 32 प्रतिशत तक सुधार हुआ है। हम राज्य में सर्विस सेक्टर को बढ़ावा दे रहे हैं। फिल्मांकन, पर्यटन, सोलर पावर, वैलनेस, साहसिक खेलों जैसे क्षेत्रों को बढ़ावा दिया जा रहा है।
शुक्रवार को हरिद्वार बाईपास रोड स्थित होटल में आयोजित जी बिजिनेस लीडरशिप कानक्लेव को सम्बोधित करते हुए मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि प्रदेश में 13 जिले 13 नये पर्यटन गंतव्य की दिशा में मजबूत पहल हुई है। इसकी डीपीआर तैयार की जा रही है। पिथौरागढ़ में 50 एकड में ट्यूलिप गार्डन तथा 1200 करोड़ के प्रोजेक्ट टिहरी के लिये चयनित किये गये हैं। देश व दुनिया के पर्यटक यहां आये इसकी व्यवस्था की जा रही है। राज्य के नैसर्गिक सौन्दर्य के प्रति अधिक से अधिक लोग आकर्षित हो इसके प्रयास किये जा रहे हैं। राज्य में फिल्म संस्थान की स्थापना की जायेगी जहां राज्य के युवाओं को कन्टेन्ट राइटिंग व एक्टिंग आदि विधाओं का प्रशिक्षण मिलेगा।
फिल्मकार राज्य के प्रति बड़ी संख्या में आकर्षित हो रहे हैं। राज्य  में धार्मिक पर्यटन में आशातीत वृद्धि हुई है। इस वर्ष इसमें 36.5 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। केदारनाथ को स्मार्ट सिटी की तर्ज पर विकसित किया जा रहा है। बद्रीनाथ का भी सौन्दर्यीकरण किया जा रहा है। चार धामों में अवस्थापना सुविधाओं का व्यापक विकास किया जा  रहा है। केदारनाथ, मसूरी, यमुनोत्री, हेमकुण्ड साहिब में रोपवे स्थापित किये जा रहे है। पर्वतों की चोटियों पर हमारे देवालय है। यहां तक आम श्रद्धालुओं की पहुंच बनायी जा रही है। चार धाम सड़क योजना, ऋषिकेश, कर्णप्रयाग रेल परियोजना यात्रियों व पर्यटकों के आवागमन को और अधिक आसान बनायेगी।
उन्होंने कहा कि प्रदेश के पर्वतीय क्षेत्रों से हो रहे पलायन को रोकने के लिये भी प्रभावी प्रयास किये जा रहे  है। हमारे इन प्रयासों को नीति आयोग ने भी सराहा है। राज्य की 650 की.मी. अन्तरराष्ट्रीय सीमा की सुरक्षा में सेना के साथ ही स्थानीय लोगों की भी भागीदारी सुनिश्चित हो इसके लिये राज्य सरकार द्वारा मुख्यमंत्री सीमान्त विकास योजना तथा मुख्यमंत्री कृषि विकास योजना प्रारम्भ की गई है।
उन्होंने कहा कि प्रदेष में न्याय पंचायत स्तर पर ग्रोथ सेन्टरों की स्थापना की जा रही है, अब तक 82 ग्रोथ सेन्रों को स्वीकृति प्रदान कर दी गयी है। प्रदेश में रिवर्स माइग्रेशन पर शीघ्र सेमिनार का आयोजन किया जायेगा, इसमें ऐसे हजारों युवाओं को शामिल किया जायेगा जिन्होंने इस दिशा में पहल की है। यह वर्ष रोजगार वर्ष के रूप में मनाया जा रहा है। इसके तहत 10 हजार युवाओं को रोजगार देने का लक्ष्य है। देहरादून को स्मार्ट सिटी बनाने के लिये कार्य धरातल पर आरंभ हो चुका है, अब सभी वार्ड इसमें शामिल किये गये हैं। इसके लिए 1400 करोड़ की धनराशि स्वीकृत हुई है। प्रदेश में हवाई यातायात को बढ़ावा देने के लिये देहरादून व पंतनगर हवाई अड्डों को अंतराष्ट्रीय स्तर का बनाया जा रहा हे। देहरादून से सभी प्रमुख शहरों को हवाई सेवा आरंभ की गई है। प्रदेश के केन्द्रीय स्थल चौखुटिया में भी हवाई अड्डे का निर्माण किये जाने का निर्णय लिया गया है। उन्होंने कहा कि राज्य के विकास में केन्द्र सरकार का पूरा सहयोग मिल रहा है। सौंग बांध सहित लखवाड़, व्यासी व जमरानी बांध की बाधायें दूर की गई है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सिटिजन एमेंडमेंट बिल देश के बेहतर भविष्य, अखण्डता व सुरक्षा के व्यापक हित में है। इसमें नागरिकता देने की व्यवस्था है लेने की नहीं। इसका वे विरोध कर रहे हैं जिन्होंने इसे ठीक से समझा ही नहीं। कुंभ मेले के सफल आयोजन की व्यवस्थाओं का जिक्र करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी कोशिश इसके बेहतर आयोजन की है, इसके लिए अब तक 27 बैठकें आयोजित की जा चुकी हैं। सभी अखाड़ों व सन्त महात्माओं का इसमें सहयोग लिया जा रहा है, उनसे भी निरंतर संवाद बनाया जा रहा है जो इस क्षेत्र के अनुभवी लोग हैं।

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