कोरोना के कारण क्वारंटाइन हुए एक कोरोना संदिग्ध ने सातवीं मंजिल से कूद कर की आत्महत्या
ग्रेटर नोएडा । नॉलेज पार्क स्थित कॉलेज के हास्टल को जिला प्रशासन ने क्वारंटाइन सेंटर बनाया है। सेंटर में भर्ती एक व्यक्ति ने रविवार शाम को हास्टल की सातवीं मंजिल से छलांग लगा दी। तैनात कर्मचारियों ने घटना की सूचना पुलिस व प्रशासन को दी। घायल को निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। उपचार के दौरान युवक की मौत हो गयी। जिला प्रशासन ने शहर में विभिन्न स्थानों पर क्वारंटाइन सेंटर बनाया है। प्रशासन ने कॉलेज के हास्टल को भी टेक ओवर किया था। जिन लोगों में कोरोना वायरस संक्रमण की संभावना होती है उन्हें हास्टल के कमरे में रखा जाता है। प्रशासन के द्वारा उन्हें विभिन्न सुविधा उपलब्ध कराई जाती है। जांच के लिए सभी के नमूने लेकर भेज दिए जाते हैं। हास्टल में क्वारंटाइन किए गए संदिग्ध का नमूना भी जांच के लिए भेजा गया था। सूत्रों की मानें तो अभी रिपोर्ट नहीं आई थी। रविवार शाम को संदिग्ध काफी परेशान था। शाम को लगभग साढ़े सात बजे संदिग्ध ने सातवीं मंजिल से छलांग लगा कर अपनी जान दे दी। युवक के छलांग लगाने की सूचना पर मौके पर पुलिस बल पहुंच गया पुलिस ने युवक के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।
हॉट स्पॉट सील होने के बाद आ रहे 200 कॉल प्रतिदिन इधर लॉकडाउन के दौरान उत्तर प्रदेश पुलिस की आपातकालीन सेवा डायल 112 का भी रोल बढ़ा है। लोग लॉकडाउन में डायल-112 पर राशन, खाना, दवाई, खाना नहीं होने, अस्पताल जाने के लिए टैक्सी नहीं मिलने, रक्त का इंतजाम करने व मुनाफाखोरी कर रहे दुकानदार की शिकायत कर रहे हैं। हालांकि इंटीग्रेटेड कॉल सेंटर बनने के बाद 112 पर शिकायत का अंबार कम हुआ है। लेकिन, अधिकांश लोग खाना व राशन नहीं होने की शिकायत 112 से कर रहे हैं। पहले जहां आटा व राशन के लिए दो हजार फोन आते थे, वहीं कोरोना के हॉट स्पॉट एरिया को सील किए जाने के बाद राशन के लिए करीब दो सौ फोन प्रतिदिन आ रहे हैं।
इंट्रीग्रेटेड नंबर पर संपर्क करने की सलाह डीसीपी ट्रैफिक राजेश एस ने बताया कि लॉकडाउन के पहले दिन महज 250 के करीब लोगों ने मदद के 112 पर कॉल किया था। वहीं, 10 दिन बाद करीब 4300 लोगों ने मदद के लिए कॉल किया। जिन लोगों ने राशन और खाने के लिए कॉल किया उनके घर तत्काल मदद पहुंचाई गई है। साथ कई लोगों ने गर्भवती महिलाओं, बच्चों को अस्पताल पहुंचाने के लिए भी मदद मांगी। इसके लिए लोगों ने112 का धन्यवाद भी किया है। शहरवासियों से अपील है कि आपातकालीन समय में लोग कॉल करके मदद मांग सकते हैं। लेकिन राशन और दवा खत्म होने की मांग की शिकायत जिला प्रशासन के इंटीग्रेटेड हेल्पलाइन नंबर पर ही करें।