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सड़क हादसों पर रोक लगाने हेतु होगी राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा केंद्र की स्थापना

दिल्ली। सड़क हादसों पर अंकुश लगाने के लिए सरकार ने देश में एक राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा केंद्र की स्थापना करने का निर्णय लिया है। यह प्रतिष्ठान राष्ट्रीय स्तर पर सड़क सुरक्षा के शीर्ष संस्थान के तौर पर कार्य करेगा। विश्व बैंक की मदद से स्थापित होने वाले इस राष्ट्रीय प्रतिष्ठान पर लगभग 20 करोड़ रुपये की लागत आने का अनुमान है।

सड़क मंत्रालय, एनएचएआइ, पीडब्लूडी व नगर निगमों के अफसर शामिल –  राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा केंद्र की स्थापना विश्व बैंक की मदद से देश में चल रही नेशनल हाईवे इंटरकनेक्टिविटी इंप्रूवमेंट प्रोजेक्ट (एनएचआइआइपी) के अंतर्गत की जाएगी। अगस्त, 2016 में केंद्र द्वारा मंजूर इस परियोजना का कार्यान्वयन सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय की ओर से किया जा रहा है। परियोजना का मकसद बिहार, उड़ीसा और राजस्थान जैसे देश के सर्वाधिक पिछड़े राज्यों के अलावा कर्नाटक और पश्चिम बंगाल जैसे मध्यम स्तर पर विकसित राज्यों के अल्प विकसित इलाकों में राष्ट्रीय राजमार्गो की स्थिति सुधारकर कर उन्हें वाहन यातायात के लिए अपेक्षाकृत सुरक्षित बनाना है। लगभग साढ़े छह हजार करोड़ रुपये लागत वाली दो चरणों वाली इस परियोजना के तहत 1120 किलोमीटर लंबे एक लेन वाले राष्ट्रीय राजमार्गो को दो लेन में बदलने के साथ-साथ सड़क सुरक्षा से जुड़े अन्य महत्वपूर्ण कार्य किए जा रहे हैं। इनमें से राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा केंद्र की स्थापना शामिल है, जिस पर 30 मिलियन डालर (लगभग 20 करोड़ रुपये) की लागत आने का अनुमान है। परियोजना के पहले चरण के तहत विश्व बैंक ने 500 मिलियन का कर्ज भारत को दिया था। जिससे अब तक लगभग 800 किलोमीटर सड़कों का काम पूरा किया जा चुका है। के लिए राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा केंद्र के साथ-साथ संपूर्ण एनएचआइआइपी के जुलाई 2019 में पूरा होने की उम्मीद है।
 राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा केंद्र के लिए सड़क सुरक्षा के कार्यो में निपुण प्रशिक्षित मानव संसाधन की आवश्यकता होगी। इसे देखते हुए सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय इस महीने एशियन इंस्टीट्यूट आफ ट्रांसपोर्ट डेवलपमेंट (एआइटीडी) तथा चेन्नई की अन्ना यूनिवर्सिटी में अपने और एनएचएआइ के अफसरों के अलावा विभिन्न राज्यों के सार्वजनिक निर्माण विभागों तथा नगर निगमों के सड़क निर्माण एवं यातायात प्रबंधन से जुड़े चुनिंदा अधिकारियों और इंजीनियरों को सड़क सुरक्षा से संबंधित विभिन्न पहलुओं का गहन प्रशिक्षण के लिए भेज रहा है। 

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