PoliticsUttarakhand

मुख्यमंत्री ने वीर चन्द्र सिंह गढ़वाली पर्यटन स्वरोजगार योजना के तहत दी जाने वाली सब्सिडी को बढ़ाये जाने के दिये निर्देश

देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरूवार को सचिवालय में पर्यटन विभाग की समीक्षा की। उन्होंने पर्यटन से सम्बन्धित योजनाओं के क्रियान्वयन के साथ ही तीन माह की योजना का भी प्रस्ताव तैयार करने को कहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि योजनाओं का क्रियान्वयन शीघ्र धरातल पर दिखायी दे इस पर विशेष ध्यान दिया जाय।
     मुख्यमंत्री ने कहा कि पर्यटन हमारी आर्थिकी का महत्वपूर्ण विषय रहा है। इसके लिये राज्य में नये पर्यटन स्थलों के विकास के साथ ही पर्यटन गतिविधियों को बढ़ावा देने तथा पर्यटकों की सुख सुविधाओं का विशेष ध्यान दिये जाने की जरूरत है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जीएमवीएन तथा केएमवीएन के गेस्ट हाउसों को और अधिक सुसज्जित बनाने, वेलनेस सेन्टर जैसी सुविधायें इनके माध्यम से उपलब्ध करायी जाय तो अधिक से अधिक पर्यटक इनसे जुडेंगे। मुख्यमंत्री ने साहसिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिये काली एवं शारदा आदि नदियों में भी राफ्टिंग तथा टिहरी लेक में सी प्लेन योजना को शीघ्र धरातल पर उतारे जाने को कहा। मसूरी व नैनीताल की ट्रैफिक व्यवस्था का कारगर हल तलाशे जाने पर बल देते हुए मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि ट्रैफिक व्यवस्था में सुधार से पर्यटकों के जरिये राज्य की बेहतर पर्यटन व्यवस्थाओं का सन्देश देश व दुनिया में जायेगा।
     मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि वीर चन्द्र सिंह गढ़वाली पर्यटन स्वरोजगार योजना के तहत दी जाने वाली सब्सिडी को बढ़ाये जाने का प्रस्ताव तैयार किया जाय, ताकि अधिक से अधिक लोग इस योजना से जुड सकेंगे।
     मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के पौराणिक महत्व के धार्मिक स्थलों पुराने पर्यटन स्थलों का भी पर्यटन की दृष्टि से विकास किया जाय। हमारा प्रयास राज्य के नैसर्गिंक प्राकृतिक सौन्दर्य, समृद्ध सांस्कृतिक विरासत एवं जैव विविधता को देश व दुनिया के सामने लाना है। इसके लिये सम्बन्धित विभागों को आपसी समन्वय से कार्य करना होगा। इसके लिये कम अवधि की छोटी फिल्मों के माध्यम से प्रचार प्रसार पर भी ध्यान दिया जाय। उन्होंने देहरादून मसूरी, ऋषिकेश नीलकंठ आदि रोप वे के साथ ही पाताल भुवनेश्वर तथा पूर्णागिरी रोप वे निर्माण का भी प्रस्ताव तैयार करने को कहा। अल्मोड़ा के नीम करोली में पार्किंग की व्यवस्था, पायलेट प्रोजेक्ट के रूप में संचालित करने के निर्देश मुख्यमंत्री ने दिये हैं।
     समीक्षा बैठक के दौरान सचिव पर्यटन श्री दिलीप जावलकर ने व्यापक प्रस्तुतीकरण के माध्यम से राज्य में संचालित तथा भावी पर्यटन योजनाओं की जानकारी दी। सचिव पर्यटन ने बताया कि पर्यटन की 28 गतिविधियों को उद्योग की श्रेणी में सम्मिलित किया गया है। साहसिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिये अलग विंग गठित की गई है। भारत सरकार द्वारा राज्य का एडवेंचर टूरिज्म गतिविधियों को अन्य राज्यों के लिये अनुकरणीय बताया गया है। फिल्म शूटिंग के लिये राज्य को बेस्ट फ्रेंडली स्टेट का अवार्ड दिया गया है। उन्होंने बताया कि राज्य का पर्यटन कलेण्डर तैयार किया गया है। उन्होंने बताया कि राज्य के पर्यटन को बढ़ावा देने के लिये एड फिल्मों के माध्यम से भी प्रचार की योजना है। इस अवसर पर पर्यटन आधारित फिल्म का भी प्रदर्शन किया गया। उन्होंने बताया कि पर्यटन विभाग से सम्बन्धित मा0 मुख्यमंत्री द्वारा 103 घोषणायें की गई थी जिनमें 68 पूर्ण हो चुकी है। तथा 21 पर कार्यवाही गतिमान है।
     सचिव पर्यटन ने बताया कि राज्य के लोगों की संख्या से चार गुना पर्यटक यहां आते हैं। वर्ष 2014 में आपदा के बाद 3 लाख श्रद्धालु चार धाम यात्रा में आये थे, जबकि 2019 में यह संख्या 34 लाख से ज्यादा रही है, इसमें 10 लाख लोग केदारनाथ आये थे। उन्होंने कहा कि पर्यटन क्षेत्र में घोषित कोविड राहत पैकेज के अंतर्गत पर्यटन विभाग में पंजीकृत होटल, रैस्टोरेंट व होम स्टे के कार्मिकों को राहत राशि वितरित की जानी शुरू हो गई है। 31 अगस्त तक राज्य में कुल 9398 लोगों के खातों में 3,66,37,580 रूपये की राशि ट्रांसफर की जा चुकी है।
     समीक्षा बैठक के दौरान मुख्य सचिव डॉ. एस.एस.सन्धु, अपर मुख्य सचिव  आनन्द वर्द्धन, अपर प्रमुख सचिव  अभिनव कुमार, पर्यटन अपर सचिव  युगल किशोर पन्त, श्रीमती स्वाती भदौरिया सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button