Uttarakhand
मादक पदार्थ एवं नशीली दवाओं के सेवन से बचाव हेतु कार्यशाला का किया गया आयोजन
देहरादून। भारत सरकार द्वारा NATIONAL ACTION PLAN FOR DRUG DEMAND REDUCTION (NAPDDR) मादक पदार्थ एवं नशीली दवाओं के सेवन से बचाव हेतु राज्य मे समाज कल्याण विभाग को नोडल अधिकारी नामित किया गया है। उक्त कार्यक्रम के पहल जनपद देहरादून मे दून विश्वविधालय,देहरादून मे कार्यशाला का आयोजन किया गया।
जनपद देहरादून मे कई निजी तथा राजकीय उच्च शिक्षण संस्थान हैं, जहाॅ प्रदेश ही नहीं देश-विदेश के भी विद्यार्थी अध्ययनरत हैं। उत्तर भारत मे देहरादून एक शिक्षा का हब है। जनपद देहरादून मे 1217 प्राथमिक/उच्च प्राथमिक विधालय, 893 निजी अशासकीय विधालय,170 राजकीय इण्टर कॉलेज/हाईस्कूल, 338 निजी अशासकीय इन्टर कालेज/हाईस्कूल, 8 राजकीय व्यावसायिक शिक्षण संस्थान तथा लगभग 125 निजी व्यावसायिक शिक्षण संस्थान संचालित है।
चरस, भांग, हेरोइन, अफीम, गांजा, शराब, ब्राउन शुगर जैसे नशीले पदार्थो का सेवन करने लोक अपना जीवन खराब कर रहे हैं। ये पदार्थ कुछ समय के लिए नशा देते हैं, जिसमें व्यक्ति को सुखद अनुभूमि होती है, पर जैसे ही नशा खत्म होता है, व्यक्ति फिर से उसे लेना चाहता है। कुछ ही दिनों मे उसे नशे की लत लग जाती है और ये लोग इस प्रकार के समाज विरोधी कार्य करने वाले नशे के व्यापारियों की चपेट मे आकर पहले घर में चोरी करते हैं तथा उसके बाद बाहर अपराध की दुनियां में भी कदम रख देते हैं। इससे इस पीढी के बचाव के लिए गम्भीर चिन्तन के साथ-साथ इस सामाजिक बुराई से बचाना आवश्यक हो जाता है।
इसी उद्देश्य से समाज कल्याण विभाग, जिला प्रशासन, चिकित्सा विभाग, पुलिस, शिक्षा विभाग, विधिक सेवा प्राधिकरण नशे से बचाव हेतु कार्य कर रही स्वैच्छिक संस्थाओं के सहयोग से भारत सरकार द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के क्रम मे जनपद देहरादून मे भी नशामुक्ति के क्षेत्र मे एक सुव्यवस्थित एवं सुनियोजित तरीके से इस योजना का चरणबद्ध रूप से क्रियान्वयन किया जायेगा ताकि अपेक्षित परिणाम प्राप्त हो सके। सर्वप्रथम कार्यशाला मे सुश्री हेमलता पाण्डेय, जिला समाज कल्याण अधिकारी,देहरादून द्वारा अवगत कराया गया कि कार्यशाला मे जनपद के राजकीय एवं निजी व्यावसायिक शिक्षण संस्थानों से दो-दो अध्यापक एवं कार्मिक उपस्थित थे। शीघ्र जनपद के समस्त इन्टर कालेजो तथा उच्च शिक्षण संस्थानों में से प्रत्येक शिक्षण संस्थान से प्रधानाचार्य के साथ ही 02 अध्यापकों को इस कार्य हेतु प्रशिक्षण प्रदान किये जाने की व्यवस्था की जायेगी। छात्रों को जागरूक किये जाने हेतु विधालय प्रशासन के सहयोग मे गोष्ठियों, सेमीनारों का आयोजन किये जाने की जानकारी दी गई। चल वित्तीय वर्ष 2019-20 मे इस मद मे रू. 25.00 लाख का आवंटन प्राप्त हो चुका है। जिसके सापेक्ष जनपद के जिला चिकित्सालयों मे नशामुक्ति केन्द्र के रूप मे विशेष वार्ड विकसित किये जायेगा, जिस हेतु रू. 5.00 लाख की धनराशि शीघ्र मुख्य चिकित्साधिकारी देहरादून को हस्तानान्तरित की जायेगी। कुल रू 10.00 लाख का व्यय विशेष वार्ड विकसित करने मे किया जायेगा। समाज कल्याण विभाग,देहरादून द्वारा मादक पदार्थ एवं नशीली दवाओं के सेवन से बचाव कार्यक्रम को (मिशन दाज्यू) ¼MISSION DAAJYU½ नाम दिया गया है।
(पूर्व ड्रग एडिक्ट) सौरभ मल्होत्रा,निवासी देहरादून द्वारा कार्यशाला मे अपने जीवन की कहानी से सभी को रूबरू कराया। पूर्व मे नशाखोरी के शिकार रहे सौरभ ने नशे से जीवन पर पडे प्रभाव और उसकी लत को छौडने के लिए किये गये अपने प्रयासों के बारे मे सभी को जानकारी दी। सौरभ विगत 25 वर्षो से नशे की लत मे लिप्त हो चुके लोगों को बाहर लाने के क्षेत्र मे विशेष कार्य कर रहे हैं।
शीघ्र ही जनपद स्तर पर जिलाधिकारी,देहरादून की अध्यक्षता मे जिला टास्क फोर्स का गठन किया जायेगा। जनपद मे संचालित नशा मुक्ति केन्द्रों की जाॅच कर उचित दिशा निर्देश जारी किये जायेगेे। भविष्य मे प्रशिक्षणार्थियों को चरणब़द्ध रूप से प्रशिक्षण दिया जायेगा।
इस परिपेक्षय मे आज दिनांक को कार्यशाला का आयोजन मुख्य विकास अधिकारी,देहरादून की अध्यक्षता मे किया। कार्यशाला मे स्वास्थ्य विभाग, पुलिस विभाग, शिक्षा विभाग, स्वैच्छिक संस्था हैप्पी फैमली एण्ड हैल्थ सेन्टर रूडकी, द्वारा विस्तृत ढंग से मादक पदार्थ एवं नशीली दवाओं के सेवक से बचाव हेतु जनाकारियां दी गई। कार्यशाला मे सुश्री हेमलता पाण्डेय,जिला समाज कल्याण अधिकारी, दीपाॅकर घिल्डियाल,अपर जिला समाज कल्याण अधिकारी, सुश्री पल्लवी त्यागी, पुलिस उपाधीक्षक,देहरादून,स्वास्थ्य विभाग से डा0 यू0एस0चैहान,उप मुख्यचिकित्साधिकारी,देहरादून, जिला तम्बाकू नियंत्रण प्रकोष्ठ से श्रीमती अर्चना उनियाल, (पूर्व ड्रग एडिक्ट) सौरभ मल्होत्रा,डा0 राजीव कुमार,हैप्पी फैमली एण्ड हैल्थ सेन्टर,रूडकी एवं विभिन्न उच्च शिक्षण संस्थान,इण्टर कालेजों के प्राध्यापक उपस्थित थे।