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उद्यान घोटाले पर हाईकोर्ट का सख्त रुख

देहरादून। बहुचर्चित करोड़ों रुपए के उद्यान घोटाले में आज एसआईटी ने अपनी जांच रिपोर्ट हाईकोर्ट में समिट की। जिसे पढ़कर अदालत ने कई सवाल उठाए और सरकार से 27 सितंबर को होने वाली अगली सुनवाई तक सील बंद लिफाफे में अपना जवाब देने को कहा गया है।
राज्य के इस करोड़ों रुपए के उद्यान घोटाले की जांच कर रही एसआईटी ने अपनी जांच रिपोर्ट कोर्ट में पेश की। मामले की सुनवाई कर रही अदालत की बेंच ने एसआईटी से पूछा कि क्या एसआईटी ने इस मामले के मुख्य आरोपी उद्यान विभाग के निदेशक हरमन बवेजा से पूछताछ की है? अगर पूछताछ की है तो एसआईटी ने क्या पूछा है और वह किस निष्कर्ष पर पहुंची है। वही कोर्ट ने पूछा कि क्या एसआईटी ने इस घोटाले से जुड़ी अनीता ट्रेडर्स नर्सरी की मालिक से पूछताछ की है। अगर की है तो इस मामले में आगे क्या कार्रवाई की जा रही है। कोर्ट द्वारा एसआईटी की जांच पर सवाल उठाते हुए यह भी कहा गया है कि घोटाले को अंजाम देने में जम्मू कश्मीर और हिमाचल की जिन संस्थाओं या व्यक्तियों की सहभागिता रही है उन दूसरे राज्यों में एसआईटी कैसे जांच कर सकती है?
कोर्ट ने कहा की एसआईटी जब दूसरे राज्यों में जाकर किसी मामले की जांच नहीं कर सकती है तो क्यों न इस मामले की जांच सीबीआई को सौंप दी जाए। एसआईटी द्वारा की गई जांच रिपोर्ट को पूरी गंभीरता से पढ़ने और समझने के बाद एसआईटी की जांच पर असंतोष जाहिर करते हुए कोर्ट द्वारा कहा गया है कि सरकार इस मामले में अगली सुनवाई की तारीख 27 सितंबर तक अदालत में अपना जवाब सील बंद लिफाफे में दाखिल करें।
उल्लेखनीय है कि उद्यान विभाग में हुए इस करोड़ों रुपए के घोटाले की जांच करने के लिए सरकार द्वारा एसआईटी को जांच सौंपी गई थी लेकिन इस जांच से हाईकोर्ट संतुष्ट नहीं है। अब देखना यह है कि सरकार 27 सितंबर को क्या जवाब देती है लेकिन कोर्ट ने साफ कर दिया कि सरकार सवालों का सही जवाब नहीं देती है तो इसकी जांच सीबीआई को सौंपी जा सकती है।

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