आरक्षण की मांग को लेकर रास्ता जाम कर रहे निषाद पार्टी के कार्यकर्ताओं ने पीट-पीटकर कांस्टेबल की ले ली जान
गाजीपुर। आरक्षण की मांग को लेकर रास्ता जाम कर रहे निषाद पार्टी के कार्यकर्ताओं को हटाने गए करीमुद्दीनपुर थाने में तैनात हेड कांस्टेबल सुरेश प्रताप वत्स (48) को शनिवार की शाम पीटकर मार डाला गया। डीएम व एसपी मौके पर पहुंचे तो आरोपित भाग निकले। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस हादसे का संज्ञान लेते हुए गहरा दुःख प्रकट किया और पीड़ित परिवार को चालीस लाख रुपए की आर्थिक मदद की घोषणा की।
आरक्षण की मांग को लेकर बवाल आरक्षण की मांग को लेकर जिले भर के निषाद पार्टी के कार्यकर्ता जिला मुख्यालय पर धरना देने आ रहे थे। प्रधानमंत्री के कार्यक्रम को देखते हुए उन्हें पुलिसकर्मियों ने जगह-जगह रोक दिया। इससे नाराज कार्यकर्ता सैदपुर, करंडा थाना क्षेत्र के भटौली व नोनहरा थाना क्षेत्र के कठवामोड़ मंगई नदी के पुल पर धरने पर बैठ गए। तीसरे पहर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सभा समाप्त हुई और कार्यक्रम में आए लोग लौटने लगे तो कठवामोड़ के पास निषाद पार्टी के र्कायर्कताओं गाजीपुर-मुहम्मदाबाद मार्ग पर जाम लगा दिए। पुलिस विभाग द्वारा जाम खुलवाने के लिए ड्यूटी से थाने लौट रहे करीमुद्दीनपुर थानाध्यक्ष को निर्देश दिया गया। वे पुलिसकर्मियों संग जाम स्थल पर पहुंचे और कार्यकर्ताओं को समझाने लगे। उसी दौरान कार्यकर्ता उग्र हो गए और पथराव करने लगे जिससे भगदड़ मच गई।
जिला अस्पताल में मौत विवाद के बीच निषाद पार्टी के कार्यकर्ता करीमुद्दीनपुर थाने में तैनात प्रतापगढ़ जिले के रानीगंज थाना क्षेत्र के लच्छीपुर गांव निवासी सुरेश प्रताप को दबोच लिए और जमकर पिटाई कर दी। सिर में गंभीर चोट लगने के कारण वे मौके पर ही बेहोश हो गए। पुलिसकर्मियों ने हमलावरों को खदेड़कर सुरेश प्रताप को छुड़ाया। लहूलुहान हाल में लेकर जिला अस्पताल आए, जहां चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया।
भाजपा कार्यकर्ताओं के वाहनों पर भी हमला प्रधानमंत्री के कार्यक्रम से लौट रहे भाजपा नेताओं के वाहनों पर शुरू में निषाद पार्टी के कार्यकर्ताओं ने ईंट-पत्थर फेंका। इससे दोनों पक्षों में कई बार जमकर तकरार भी हुई। किसी को क्या पता था कि ये इतने उग्र हैं कि सुरक्षा में लगे सिपाही को ही मौत के घाट उतार देंगे।