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बापू के चरणों में पुलवामा के शहीदों को मौन व्रत रख कर कांग्रेस ने दी श्रद्धाजंलि
-देश के लिए सर्वोच्च बलिदान देने वालों का हमेशा ऋणी रहेगा देशः धस्माना
देहरादून। पुलवामा में हुए आतंकवादी हमले में शहीद 42 सीआरपीएफ जवानों के पहली शहादत दिवस पर आज उत्तराखंड प्रदेश कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना के नेतृत्व में कांग्रेसजनों ने गांधी पार्क में महात्मा गांधी की प्रतिमा के सामने एक घण्टे का मौन व्रत धारण कर शहीदों को श्राद्धाजंलि अर्पित की । मौन व्रत के पश्चात श्री धस्माना ने श्राद्धाजंलि सभा को संबोधित करते हुए कहा कि आज के दिन ही पुलवामा में वो दुर्भाग्यपूर्ण घटना घटित हुई थी जिसमें हमारे 42 बहादुर सीआरपीएफ के जवान शहीद हो गए थे और पूरे देश में कोहराम मच गया था।
उन्होंने कहा कि घटना के एक साल बाद जब हम उन बहादुरों के बलिदान की पहली बरसी मना रहे हैं तो मन इसलिए दुखी है कि केंद्र में बैठी सरकार आज एक साल बाद भी देश की जनता को यह नहीं बता पाए कि 14 फरवरी 2019 को सीआरपीएफ के उस काफिले पर हमला करने वाले 350 आरडीएक्स ले कर कैसे पहुंच गए? श्री धस्माना ने कहा कि पुलवामा के शहीदों का नाम ले कर सत्ता में आये लोगों को पुलवामा के शहीदों के साथ न्याय करना चाहिए और वो न्याय तभी होगा जब देश को पता चलेगा कि पुलवामा में हमलावर कैसे अभेद्य काफिले तक 350 किलो आरडीएक्स किसने पहुंचाया और इस हमले में पुलवामा में तैनात तत्कालीन डिप्टी एसपी देवेंदर सिंह जो हाल ही में आतंकवादियों के साथ गिरफ्तार किया गया उसकी पुलवामा हमले में क्या भूमिका थी। श्री धस्माना ने कहा कि उत्तराखंड के जवान हमेशा देश के लिए कुर्बानी देने में हमेशा अग्रणी भूमिका में रहे और पुलवामा हमले में भी उत्तराखंड के जवान शहीद हुए और उसके बाद के ऑपरेशन में मेजर विभूति ढोंडियाल व मेजर चित्रेश बिष्ट ने सर्वोच्च बलिदान दिया। श्रद्धाजंलि कार्यक्रम में परनिता बडोनी, शांति रावत, पिया थापा, मंजू तोमर राजेश चमोली अन्नू बिष्ट, धर्म सोनकर, विकास नेगी ललित भद्री, मोहन काला, अभिषेक तिवारी, सरदार जसविंदर सिंह मोठी, सईद, बाला शर्मा, निहाल सिंह, आदर्श सूद, प्रताप असवाल, देवेंदर बुटोला, घनश्याम वर्मा, विपुल नौटियाल, एससी सूरी आदि लोग उपस्थित रहे।